सफीन हसन देश का सबसे युवा IPS बने Youngest IPS officer
of India Safin Hasan Biography in Hindi
22
साल का सफीन हसन देश का सबसे युवा IPS
सबसे कम उम्र का IPS सफीन हसन की पहली ड्यूटी, जामनगर से शुरू
हुआ जानिए उन्होंने कैसे देश सेवा करने का सोचा
भारत का सबसे युवा IPS
Safin Hasan का जन्म 21 जुलाई 1995
को गुजरात के पालनपुर जिला के कनोदर गांव में हुआ था। पढ़ाने के लिए उनकी माँ शादियों
में रोटि बेलती थी 22 साल के सफीन हसन ने यूपीएससी की परीक्षा में 570वीं रैंक के साथ
वर्ष 2017 में पास किया। उसके बाद IPS आईपीएस के लिए उनकी ट्रेनिंग शुरू हुई। वे गुजरात
कैडर से आईपीएस की ट्रेनिंग के लिए हैदराबाद गए। ट्रेनिंग पूरी हुई तो गुजरात के जामनगर
जिला से पुलिस उपाधीक्षक का पदभार मिला। अब उनका सैकड़ों पुलिसकर्मियों पर हुकुम चलेगा।
मगर ऑफिसर बनने का यह सफर आसान नहीं था उन्हें बहुत मेहनत करनी पड़ी। यहां तक कि कई
रात भूखा भी रहना पड़ा था। उनके माता-पिता दोनों हीरा श्रमिक रहे हैं। पिता की नौकरी
चली गई थी तो माँ ने रोटि बेलकर सफीन हसन की पढ़ाई का खर्चा निकाला।
IPS सफीन हसन का जीवन परिचय। | IPS Safin Hasan Biography in Hindi
पूरा नाम Full Name |
सफीन हसन |
जन्म तिथि (Date of |
21 जुलाई 1995 |
जन्म स्थान (Place of |
कनोदर गांव, पालनपुर गुजरात |
पेशा (Profession) |
आईपीएस अधिकारी |
पिता का नाम (Father’s |
ज्ञात नहीं |
माता का नाम (Mother’s |
ज्ञात नहीं |
10वीं में प्राप्त अंक |
92% |
12वीं में प्राप्त अंक |
92% |
हाइट (लगभग |
1.78 M या 178 Cm |
धर्म (Religion) |
इस्लाम |
Educational Qualification of Safin Hasan सफीन हसन का शैक्षणिक योग्यता
सफीन हसन SKM हाई स्कूल कनोदर, गुजरात
से 10वी क्लास में 92% मार्क्स से पास हुए
सफीन हसन ऐसेंट स्कूल ऑफ सायन्स पलंपूर, गुजरात
से 12वी क्लास में 92 % मार्क्स से पास हुए
सरदार वल्लभभाई नेशनल इंस्टिट्यूट ओफ टेक्नोलॉजी,
सूरत से इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कम्युनिकेशन में B. TECH पास हुए उसके बाद UPSC
पास हुए
सफीन हसन का आदर्श वाक्य
सफीन हसन कहते हैं किसी प्रवाह में शामिल होने की बजाय सफलता के लिए हमें खुद अपना विश्लेषण करना चाहिए जिससे की हम अपने लक्ष्य की ओर जा सके
सफीन हसन का यूपीएससी की तैयारी के बारे में
सफीन हसन ने पहले ही प्रयास में 570वीं रैंक
के साथ वर्ष 2017 में UPSC यूपीएससी पास
की
Safin Hasan सफीन हसन ने जून 2016 में तैयारी शुरू किया। UPSC यूपीएससी और जीपीएससी की परीक्षा में बैठे। यूपीएससी की लिखित परीक्षा 570वीं रैंक के साथ पास किया।
सफीन हसन कैसे दिया परीक्षा?
UPSC यूपीएससी मैन्स के चौथे पेपर से ठीक पहले सफीन हसन का एक्सीडेंट हो गया था। सुबह 9 बजे से पेपर था और 8:30 बजे बाइक फिसलने से उनके घुटने, कोहनी और सिर में चोट लगी। दर्द के बीच हसन इस बात पर खुश थे कि राइट हैंड (दाहिना हाथ) ठीक था। सफीन हसन कहते हैं यूपीएससी का पेपर लंबा होने के चलते, पेन किलर लेकर खुद ड्राइव कर एग्जाम सेंटर पहुंचा था। पेपर के बाद एमआईआर कराई, तो घुटने का लिंगामेंट टूटने का पता चला। पैर का ऑपरेशन करने की जरूरत थी जो उन्होंने इंटरव्यू पूरा होने के बाद कराया।
सफीन हसन बुखार के बाबजूद भी UPSC का इंटरव्यू देने गए थे
यूपीएससी का इंटरव्यू था। फरवरी तक हसन की तबियत बहुत खराब थी। डब्ल्यूबीसी काउंट 30 हजार तक घट गया। इंजेक्शन लग रहे थे, लेकिन बुखार टूट नहीं रहा था। 15 मार्च को अस्पताल से छुट्टी लेकर दिल्ली पहुंचे, ताकि इंटरव्यू की तैयारी कर सकें। एक सप्ताह की तैयारी के साथ इंटरव्यू दिया। जब रिजल्ट आया, तो देशभर में सेकेंड हाईएस्ट मार्क्स मिले थे।
सफीन हसन बचपन में एक कलेक्टर को देखकर अफसर बनने का सपना देखा था
जब सफीन हसन 10 साल के थे, तो अपनी मौसी के साथ मेले में कलेक्टर की लाल बत्ती वाली कार देखी। कलेक्टर का रूतबा देख कर मौसी से पूछा, तो उन्होंने कहा– यह जिले के राजा हैं। तभी से हसन ने अफसर बनने का फैसला कर लिया था। हसन ने गुजरात पीएससी परीक्षा 34वीं रैंक के साथ पास की थी। उन्हें जिला रजिस्ट्रार की नौकरी भी मिली, लेकिन उन्होंने कोशिश जारी रखी और आईपीएस बनकर ही दम लिया।
कई दिन हमें
भूखा
पेट
सोना
पड़ा।
अच्छे
लोगों
ने
पढ़ाई
में
मेरी
खूब
मदद
की
”मेरी
प्राथमिक
शिक्षा
उत्तर
गुजरात
बनासकांठा
के
पालनपुर
तहसील
के
छोटे
से
गांव
कणोदर
में
पूरी
हुई
थी।
प्राथमिक
शिक्षा
के
बाद
हम
इंजीनियरिंग
की
पढ़ाई
के
लिए
सूरत
आए।
स्कूल
की
पढ़ाई
के
बाद
मैंने
नेशनल
इंस्टीट्यूट
ऑफ
इंजीनियरिंग
(एनआईटी)
में
दाखिला
लिया
था।
जब
मैं
हाईस्कूल
में
था,
तो
मेरे
प्रिंसिपल
ने
मेरी
80 हजार
रुपए
फीस
माफ
कर
दी।
एग्जाम
से
पहले
हो
गया
था
एक्सीडेंट
”इसके
अलावा,
जब
हम
दिल्ली
आए
थे
तो
गुजरात
के
पोलरा
परिवार
ने
2 साल
तक
हमारा
खर्च
उठाया।
वही,
लोग
मेरी
कोचिंग
की
फीस
भी
देते
थे।
उन
दिनों
जब
यूपीएससी
के
एग्जाम
शुरू
हुए
थे,
तो
मेरा
एक्सीडेंट
हो
गया
था।
हालांकि,
जिस
हाथ
से
मैं
लिखता
था
वह
सही–सलामत
था।
एग्जाम
देने
के
बाद
मुझे
अस्पताल
में
भर्ती
तक
होना
पड़ा
था।‘
आईपीएस
बनता
देख
माता—पिता
बहुत
खुश
”अल्लाह
का
शुक्र
है,
अब
हमारे
साथ
सब
सही
है।
आगामी
23 दिसंबर
को
जामनगर
में
ASP की
ड्यूटी
ज्वॉइन
करूंगा।
बेटे
को
सबसे
कम
उम्र
का
आईपीएस
बनता
देख
माता–पिता
खुश
हैं।
मुख्यमंत्री
विजय
रूपाणी
ने
किया
सम्मानित
हसन
का
बर्थडे
21 जुलाई
को
पड़ता
है।
गुजरात
सफीन
हसन
को
गुजरात
के
मुख्यमंत्री
विजय
रूपाणी
भी
सम्मानित
कर
चुके
हैं।
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